Google पर कीवर्ड रैंकिंग कैसे सुधारें?10 बेहतरीन SEO ट्रिक्स

क्या आपका अच्छा खासा रैंकिंग बाला वैबसाइट अचानक Google पर कीवर्ड रैंकिंग मे निचे जा रहा है। क्या बहुत से ऐसे keywords जिस पर आप रैंक कर रहे थे वे धीरे धीरे नीचे की ओर आ रह है या search engine result से गाऐव हो रहा है।

आप समझ ही नही पा रहे है की ऐसा क्यो हो रहा है और आप खोज परिणामों में इसका तुरन्त सुधार चाह रहै है। तो इस लेख मे में आपको उन सभी SEO Factors के बारे मे बताने बाला हु जिससे आपको Google पर खोज परिणामों में बड़ा सुधार देखने को मिलेंगे।

इस लेख के आखिर मे में आपको कुछ ऐसे टिपस के बारे मे बताने बाला हु जिन्है फलो करके आप आपनी वैबसाइट को search engine result पर शीर्ष रैंकिंग प्राप्त कर सकते है।

SERP पर कीवर्ड रैंकिंग के कुछ साधारण Factors

SERP यानि Search Engine Result Page पर रैंकिंग को लेकर चचा॔ शुरु करने से पहले SERP पर रैंकिंग के कुछ साधारण Factors के बारे आपको थोड़ी सी जानकारी जुटा लेनी चाहिए। दरसल search engine result PAGE मे एक आच्छा स्थान प्राप्त कर पाने के पिछे कई सारे कारण होते है। आपको जानकर शाऐद ताज्जुब होगा की गुगल के मुताविक 200 से अधिक ऐसी रैंकिंग Factors है जो Directly और Indirecly रैंकिंग के लिए Search Engine को प्रभावित करता है।

गूगल पर कीवर्ड रैंकिंग

इन मे से कुछ काफी महत्बपुण॔ होते है और कुछ थोड़ा बहुत ठिकठाक हो तो भी आपका काम चल जाता है। इसके अलाबा कुछ ऐसे भी Factors है जिनका प्रयोग आपको गलती से भी नही करने चाहिए, हलांकी कई लोग Search Engine को चकमा देने के ईरादे से Black hat seo technique का प्रयोग करलेते है जिनका भुरा परिनाम उन्है आगे चलके भुगतना पडता है क्यो की गुगल इसे bad seo practice और spammy मानता है।

ये तो हो गई SEO को लेकर कुछ वेसिक बाते। चलिए अब SEO के उन Factors पर बात करलेते है जिनका आपको analysis करने की आबश्यता होगी। सबसे पहले जाननें कि प्रयास करे की आपकी वेबसाइट Google रैंकिंग में गिरावट होने कि बजाए क्या है?

1. क्या गूगल ने अपने एल्गोरिदम मे कोई अपडेट किया है?

वैसे तो Google पर कीवर्ड रैंकिंग मे उतार-चढ़ाव होता रहता है और Highly Authorititive वेबसाइटे भी इसके चपेट मे आता रहता है, लेकिन अगर गिरावट बड़े पेमाने मे हो रही हो तो जाहीर हे ये आपको निराशा कर सकते है। तो ऐसे मे आपको कीवर्ड रैंकिंग मे लगातात हो रही गिरावट की रोखदाम के लिए लेख बताए गए SEO सुधार पर ध्यान देने की आबश्यकता है।

सबसे पहले आपको Confirm कर लेना है की क्या गुगल ने हालही मे अपने Algotithom मे कोई Up-date तो नही की है, अगर हाॅ तो उसी हिसाब आपको आपनी SEO रणनिती तैयार करने की आबश्यकता होगी। गुगल समय समय पर अपने Algotithom मे ऐसी Up-date लाता रहता है जिन्है आपको ध्यान से जानने और समझने की आबश्यकता है ताकी उसी हिसाब से आप आपनी तैयारी कर सके।

2. अपनी वेबसाइट की जाँच करें।

अपनी वेबसाइट पर जाएँ और जाँच करे कि आपकी साइट की navagation ठिक है और HTTPS पर Run कर रहा है। साथ ही यह भी जाँच करे कि कही आपका डोमेन या होस्टिंग expire तो नही हो गया है या आपके वेब होस्टिंग मे कोई समस्या तो नही है, जो आपकी साइट प्रदर्शित होने से रोक रही है।

3. जाँच करे कि आपका XML साइटमैप ठीक से काम कर रहा है।

गुगल का crawler जब आपकी वेबसाइट को crawl करने के लिए आता है तो वह सबसे पहले आपकी sitemap को ढुढ़ता है और जब उसे आपकी साइट पर सब कुछ सही मिलता है तो आपके वेब पैजो को Index करलेता है। ऐसे मे अगर किसी कारण से crawler को आपका XML साइटमैप नही मिलता है तो यह आपकी कीवर्ड रैंकिंग पर भुरा असर ढाल सकता है।

4. जांच करे कि क्या आपकी वेबसाइट में 404 त्रुटि समस्याएँ आ रही हैं।

जाँच करें कि क्या आपकी वेबसाइट में 404 error का issue आ रही हैं। इसके लिए आप Google Search Console tool कि मदद ले सकते है। जब Google के बॉट किसी वेबसाइट को रैंक करने के लिए पेजों को क्रॉल करते हैं, ऐसे मे क्रॉलर अगर आपकी वेबसाइट पर किसी त्रुटियो का सामना करता है तो Google Search Console पर आपको उन त्रुटियो के बारे मे सूचित किया जाता है, जहा से आप उनमे सुधार कर सकते है, हलांकी इसके लिए आप SEMRush या Ahref जैसी Third Party SEO tool की भी मदद ले सकते है।

जांच करे कि किसी पैज पर कही आपने अनजाने मे ऐसी कोई लिंक तो नही जौड़े जो गुगल कि पलिसि के खिलाफ है। आपके लिए जानना जरुरी है की कोई भी स्पैमी या unnatural links के लिए गुगल आपको penalize कर सकता है और कीवर्ड रैंकिंग पर बुड़ा असर डाल सकता है। अगर आपने गलती से भी ऐसी किसी लिंक को प्रमोट किया है तो आप उस लिंक को Identify करे और इसे तुरन्त आपने पैज से हटाए।

बैकलिंक्स Google पर कीवर्ड रैंकिंग मे बड़ी मदद करता हैं। हालाँकि, सभी बैकलिंक्स आपको Google पर कीवर्ड रैंकिंग मे हमेशा फाएदा पहुचाऐगा ऐसा नही है। कुछ बैकलिंक्स ऐसे भी होते है जो आपकी वेबसाइट की रैंकिंग को फाएदा पहुचाऐ के बजाए नुकसान पहुँचा सकते हैं। दरसल low quality content या डोमेन से point किया गया बैकलिंक आपकी वेबसाइट ओर कीवर्ड रैंकिंग को बुड़ी तरह प्रभावित कर सकता है।

अगर आपकी लगता है कि ऐसा कोई लिंक Google पर आपकी कीवर्ड रैंकिंग को प्रभावित कर रहा है , तो आपको इन लिंक्स वाली साइटों के वेबसाइट की उनार से संपर्क करना चाहिए और विनम्रतापूर्वक उन्हें हटाने के लिए कहना चाहिए। अगर वे उन लिंको को हटाने से इनकार करता हैं, तो आप Google के Disavow टूल का उपयोग कर उन्है हटाने के लिए आप गुगल से request कर सकते हैं।

7. एक बार एंकर टेक्स्ट के प्रकार और अनुपात की जांच करें।

Google पर कीवर्ड रैंकिंग कराने के लिए एंकर टेक्स्ट का एक अहम भुमिका होता है। एंकर टेक्स्ट के कुछ अलग अलग प्रकार होते जिसे सन्तोलित और सु नियोजित तरीके से Aricle लिखने के दौरान सेट करने कि आबश्यकता होता है। Google पर कीवर्ड रैंकिंग के मामले मे एंकर टेक्स्ट को काफी गम्भीरता से लेता है और यह आपके SEO को बेहतर बनाने मे मदद करता है।

  • Generic anchors
  • Branded anchors
  • Natural anchors
  • Image anchors
  • Naked anchors (URLs)
  • Exact match anchors
  • Partial match anchors

यह सभी एंकर टेक्स्ट के कुछ प्रमुख प्रकार है।

8. जाँच करें कि आपकी वेबसाइट पर कोई निम्न गुणवत्ता या थिन कन्टेट नही है।

जाँच करें कि क्या आपकी वेबसाइट पर कोई निम्न गुणवत्ता बाली या Artificial intelligence द्बारा जेनरेटेड Content तो मौजुद नही है। क्योकि गुगल इस प्रकार की Content को Scrap Content या वेकार का Content मानता है और वे आपके SEO को बुड़ी तरह से प्रभावित करता है। आपको इस तरह की Content से वचने चाहिऐ और इन्है तरन्त साइट से वहार निकाल फेकना चाहिऐ।

साथही आपको इस बात पर भी ध्यान देने की आबश्यकता है की क्या आपकी साइट पर ऐसा कोई कन्टेट है जो पेज को कोई ब्यालु प्रोवाईट नही कराता है और क्या ऐसी कोई पैज मौजुद है जो 500 शब्दों से कम मे लिंखा गया हो तो ऐसे पेजो को साइट से हटा देना आपके लिए सही रहेगा। लेकिन अगर ऐसे पेज पर आपको किसी High Authority Domain से बैकलिंक्स मिला हुया है तो उस पेज को हटाने के बजाए इसकी कन्टेट को भी दुरुस्त कर सकते है। इसके अलाबा जब आप कोई नया कन्टेट तैयार करते है तो उसे हो सके तो कम से कम 1000 शद्बो से लेकर 1200 शद्बो के विच लिखने का प्रयास करे।

9. डुप्लिकेट कंटेंट से बचें।

आपने कंटेंट को हमेशा उनिक बनाने पर जौड़ दे। हर बार जब आप कोई नया कंटेंट तैयार करते है ध्यान रंखे की आपका कंटेंट आपही के किसी दुसरी पैज से हुबहु मेल न खता हो। क्योकि ऐसी सथीति मे गूगल का एल्गोरिथम यह तय करने मे चुक जाते है कि आपका कोनसा कंटेंट अरिजिनल है और कोनसा डुप्लिकेट नतीजन गुगल ऐसे पेजो को आपने Indexing मे स्थान नही देता। हलांकी कई बार इस तरह की गलतिया अनजाने मे भी हो सकती है।

क्योकि इन्टरनेट पर कंटेंट की भर मार है, ऐसे मे आपका कंटेंट का कोई छोटासा हिस्सा किसी दुसरी साइट से मेल खाजाना कोई अस्यभाविक नही है। ऐसी स्थिति से निपटने के लिए Plagiarism Checker Tool आपकी मदद कर सकते है। इस टुल की मदद से आप पता लगा सकते है कि आपकी कन्टेट का कोनसा टुकरा किसी दुसरे के साथ मेल खरहा है। जब आप उन टुकरो का पता लगा लेते है तो उनमे बदलाब करके उनिक बनाए।

10. कीवर्ड ओवर-ऑप्टिमाइज़ेशन से बचें।

Targeted कीवर्ड रैंकिंग के लिए इसका सही ऑप्टिमाइज़ेशन का होना जरुरी है।लेकिन आपके लिए जानना जरुरी है कि गुगल को कीवर्ड ओवर-ऑप्टिमाइज़ेशन और अंडर-ऑप्टिमाइज़ेशन से बड़ी दिक्कत हैं। कीवर्ड ऑप्टिमाइज़ेशन से मतलब यह है कि आपका कीवर्ड का घनत्व कितना है। कीवर्ड ऑप्टिमाइज़ेशन के मामले समस्या यह है कि अगर आपका Targeted कीवर्ड जरुरत से कम हो तो गूगल का एल्गोरिथम पेज की इन्टेट को समझ नही पता, दुसती तरफ अगर इनका उपीयोग जरुरत से ज्याद हो तो गुगल इसे मैन्युपोलेशन मानता है। ऐसे मे कीवर्ड ऑप्टिमाइज़ेशन के दौरार इस बात का खास खयाल रखना चाहीए कि वे 25% से ज़्यादा या उसके बराबर न हो।

इसके अतिरिक्त कुछ अन्य कारक है जो गूगल पर कीवर्ड को रैंक करने से रोक सकते हैं।

1. शीर्षक (H1 tag) मे परिवर्तन

शीर्षक टैग में परिवर्तन Google पर खोज रैंकिंग को प्रभावित कर सकता हैं, क्योंकि खोज इंजन शीर्षक के द्बारा ही किसी पेज की सामग्री के बारे में प्राथमिक जानकारी लेता है। ऐसे मे अगर पेज के Index हो जाने के बाद आप इसमें कोई बदलाव करते है, तो गुगल को इससे कनफिउसन हो सकता है और एलगोरिदम Indexing कि लम्बी पोसेस को दुबारा दोहरा सकता है जिसके कारण आपकी पेज खोज इंजन रैंकिंग से गाएव हो सकता है।

2. मेटा विवरण मे परिवर्तन

हालाँकि मेटा विवरण सिधे तौरपर कीवर्ड रैंकिंग मे इतना प्रभाव नहीं ढ़ालता, लेकिन आपकी पेज की क्लिक-थ्रू दर (CTR) को कमोबेश प्रभावित कर सकता हैं।

3. आंतरिक लिंक मे परिवर्तन

आंतरिक लिंकिंग आपकी वेबसाइट की मुल संरचना होती है और इसमें किसी तरह की परिवर्तन SEO पर बुडा असर ढ़ाल सकता हैं। परिनामस्बरुप आपकी साइट खोज इंजन परिणाम पृष्ठ (SERPs) में नीचे आ सकती हैं।

4. वेबपेज स्पीड समस्याएँ

पेज कि लोडिंग स्पीड Google पर रैंकिंग का प्रमुख कारको मे से एक है। अगर आपकी वेबपेज को लोड होने मे ज्यादा समय लेता है तो सम्भतह कीवर्ड रैंकिंग से आपकी पेज बहार होने का ये भी एक कारण हो सकता है। पेज कि लोडिंग स्पीड को जाॅच ने के लिए आप Google PageSpeed Insights टुल की मदद ले सकते है।

5. Robots.txt फ़ाइल की समस्याएँ

कभी कभी समस्याओ का निवारण हमारे करीव होते हुये भी अक्सर उन्है अनदेखा कर देते है। ऐसी ही एक तकनिकी पहेलु robots.txt फ़ाइल है। दरसल, यह छोटी फ़ाइल सर्च इंजन क्रॉलर को निर्देशित करता है कि वेबसाइट पर किस URL को एक्सेस करना है और किसे नही। ऐसे मे आपको यह सुनिश्चित करलेने चाहिए की कही आपने अनजाने मे robots.txt द्बारा पेजो को इन्डेक्स करने से रोक नही रंखे है।

6. वेबसाइट के बैकएंड मे परिवर्तन

कभी-कभी, वेबसाइट के बैकएंड मे किसी तरह की परिवर्तन Google रैंकिंग मे आपकी साइट निचे जा सकती है। क्या आपने हाल ही में आपनी साइट की थीम मे परिवर्तन किया है। क्या आपने कोई नया प्लगइन्स इंस्टॉल किया हैं? क्या आपने आपनी मौजुदा URL कि संरचना बदलाव किया है? क्या आपने अपनी वेबसाइट को किसी अन्य होस्टिंग कंपनी मे सिफ्ट किया है? क्या आपके वेबपेज का कैनोनिकल टैग बदल चुका है और आपने 301 रीडायरेक्ट का उपयोग नही किया है। अगर आपको इनमे किसी तरह की बदलाव की कोई गुनजाएस नजर आता है तो उनमे सुधार लाने का प्रयास करे।

Conclusion

कीवर्ड रैंकिंग मे गिरावट एक स्बभाविक प्रक्रिया है। आपका पैज हमेशा SERPs पर नम्बर वन पजीशन पर स्थित रहै ऐसा बिलकुल नही है। कभी कभी नई या ताजा कुयालिटि कन्टेट आपको रिप्लेस कर सकते है। कीवर्ड का सर्च वॉल्यूम या ट्रेंड मे गिरावट भी इसका एक कारण हो सकता है। लेकिन फिकर की बात तब होती है जब आपकी कीवर्ड रैंकिंग मे गिरावट भारी मात्रा मे हो रही हो और बाकेई यह आपके लिए एक गम्भीर चिन्ता का सबव बन सकता है। हलांकी इसमे ज्यादा निराश न होने के बजाय धैर्य के साथ इस लेख मे बताए गए सुझाब पर अमल करे तो कुछ समय के बाद दुबारा आपना पजिशन प्राप्त करने मे सक्षम होंगे।

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